दस्तखत से करोड़ों रुपए का अनुदान प्राप्त होता है किंतु हम एक रुपए नहीं लेते : महन्त
दस्तखत से करोड़ों रुपए का अनुदान प्राप्त होता है किंतु हम एक रुपए नहीं लेते : महन्त

जांजगीर-चांपा। छत्तीसगढ़ राज्य के सभी जिलों से आए हुए गौशाला संचालकों का त्रैमासिक सम्मेलन जिला बलौदा बाजार भाटापारा के पलारी विकासखंड अंतर्गत स्थित ग्राम देवसुन्दरा में स्थित श्री दूधाधारी मठ के बाड़ा में संपन्न हुआ कार्यक्रम के मुख्य अतिथि छत्तीसगढ़ राज्य गौ सेवा आयोग के अध्यक्ष राजेश्री महन्त रामसुन्दर दास जी महाराज थे, अध्यक्षता छत्तीसगढ़ कृषक कल्याण बोर्ड छत्तीसगढ़ के अध्यक्ष सुरेंद्र शर्मा ने की विशिष्ट अतिथि के रूप में छत्तीसगढ़ राज्य गौ सेवा आयोग के सभी सदस्य उपस्थित थे। कार्यक्रम का शुभारंभ श्री बालाजी भगवान की पूजा अर्चना से प्रारंभ हुआ सभी गौशाला संचालकों ने बारी-बारी से अपनी बातें मंच के माध्यम से अभिव्यक्त की।

सब की बातों को सुनने के पश्चात अपना आशीर्वचन प्रस्तुत करते हुए राजेश्री महन्त जी महाराज ने कहा कि जहां कहीं भी राज्य में गौ तस्करी का प्रकरण सामने आता है पुलिस प्रशासन उन्हें जब्ती बनाकर आयोग के कहने पर गौशालाओं को सुपुर्द करता है आप लोग पाँच-दस गौ माताओं को रखने के लिए ना- नूकुर करते हैं, बात सन् 2009 की है राज्य के समकालीन गृह मंत्री श्री ननकीराम कंवर जी पलारी मार्ग से गुजर रहे थे रास्ते में उन्होंने तस्करों से लगभग साडे तीन सौ गौवंशीयों की जब्ती बनाई, मंत्री जी चले गए।

थाने वाले रातभर जैसे तैसे गौ माताओं की रखवाली करते रहे सुबह टी आई का फोन आया और उन्होंने मुझे देवसुन्दरा के गौशाला में गौवंशियों को रखने का आग्रह किया हमने सभी गौ माताओं को रखकर उनकी भली-भांति सेवा की, यद्यपि यहां पहले से ही काफी संख्या में गौवंशी निवासरत थे, मठ मंदिर का यहां जो गौशाला संचालित है ऐसे- ऐसे हमारे पास एक- दो नहीं बल्कि अ_ारह गौशाला हैं, प्रत्येक गौशाला में दो सौ से लेकर पाँच हजार तक की गौवंशी निवासरत हैं, गौ सेवा आयोग के अध्यक्ष होने के नाते हैं मेरे दस्तखत से करोड़ों रुपए का अनुदान आप सबको प्राप्त होता है किंतु इतनी बड़ी तादाद में गौ माताओं की सेवा करने के पश्चात दूधाधारी मठ एक रुपए का भी अनुदान नहीं लेता है, हमारा उद्देश्य ही सेवा करना है इसीलिए सुबह से निकलकर देर रात तक दुर्गम और पहुंच विहिन क्षेत्रो में भी जाकर गौ माताओं की स्थिति और परिस्थिति का अवलोकन कर उनके कष्टों के निराकरण का हर संभव कोशिश करते हैं।

राज्य के माननीय मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल जी ने मुझे कोरोना काल में फोन करके कहा था महाराज जी हमने आपको इतना अधिक दौरा करने के लिए तो नहीं कहा है! उन्हें हृदय से धन्यवाद देता हूं कि उन्होंने सेवा के क्षेत्र में कार्य करने का मुझे अवसर प्रदान किया है! कार्यक्रम के अध्यक्ष शर्मा जी ने कहा कि एक समय था जब मुझे अपनी बछिया को बलौदा बाजार के कांजी हाउस से सात सौ रुपये जमा करके छुड़ाना पड़ा था ।

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